लोक अदालतों की अधिकारिता मुकदमा दायर करने से पहले के मामलों को निपटारा करने की है और उन मामलों को नहीं, जो किसी न्यायालय में लम्बित हो
लोक अदालतें ऐसे मामलों का निपटारा कर सकती है, जो सिविल न की अपराधिक प्रवृत्ति के हैं
प्रत्येक लोक अदालत में केवल सेवारत अथवा सेवानिवृत्त न्यायिक अधिकारी नियुक्त हो सकते हैं कोई नया एक व्यक्ति नहीं
उपरोक्त में से कोई नहीं