केन्द्रक कला केन्द्रक के चारों द्विस्तीय कला को कहते है। केन्द्रक कला जीव-जन्तु एवं पादपों सभी में पायी जाती है। केन्द्रक कला द्वारा पदार्थों का आदान प्रदान होता है। केन्द्रक कला पश्च प्रोफेज में अदृश्य हो जाती है। केन्द्रक कला का कार्य प्रोटीन का निर्माण, ऊर्जा का निर्माण करना आदि है।