सूर्य-कलंक सूर्य के पृष्ठ (प्रकाशमंडल) पर अस्थाई धब्बे होते हैं। सूर्य के केन्द्रीय भाग को प्रच्छाया कहते हैं। यह गहरा होता है तथा और इसका ताप 4000 K तथा 4500 K होता है। यह उपछाया से घिरा रहता है जहाँ ताप उसके परितः प्रकाशमंडल से केवल 100 K से 200 K के लगभग कम हो सकता है। उपछाया का बाह्य व्यास प्रच्छाया के व्यास का लगभग 2 से 3 गुना तक होता है। दोनों की आकृति निश्चित रूप से वृत्ताकार से काफी भिन्न होती है।